परिचय - विनोद साव
20 सितंबर 1955 को दुर्ग में जनमे विनोद साव समाजशास्त्र विषय में एम.ए.हैं। वे भिलाई इस्पात संयंत्र में निगमित सामाजिक उत्तरदायित्व विभाग में सहायक प्रबंधक हैं। हिंदी व्यंग्य के सुस्थापित लेखक विनोद साव अब उपन्यास, कहानियां और यात्रा वृतांत लिखकर भी चर्चा में हैं। उनकी रचनाएं हंस, पहल, अक्षरपर्व, वसुधा, ज्ञानोदय, वागर्थ और समकालीन भारतीय साहित्य में छपी हैं। उनके दो उपन्यास, तीन व्यंग्य संग्रह और संस्मरणों व कहानियों के संग्रह सहित अब तक कुल बारह किताबें प्रकाशित हो चुकी हैं। उन्हें वागीश्वरी और अट्टहास सम्मान सहित कई पुरस्कार मिल चुके हैं। छत्तीसगढ़ माध्यमिक षिक्षा मंडल के लिए भी चित्र-कथाएं लिखी गई हैं। वे उपन्यास के लिए डॉ. नामवरसिंह और व्यंग्य के लिए श्रीलाल शुक्ल से भी सम्मानित हुए हैं।
उनका पता है: मुक्तनगर, दुर्ग छत्तीसगढ़ 491001
मो. 9407984014 ई-मेल: vinod.sao1955@gmail.com
- प्रकाशन: हंस, अक्षरपर्व, पहल, वसुधा, ज्ञानोदय, वागर्थ
- पुस्तकेंः दो उपन्यास-चुनाव, भोंगपुर-30 कि.मी.।
- तीन व्यंग्य संग्रह-मेरा मध्यप्रदेशीय हृदय, मैदान-ए-व्यंग्य और हार पहनाने का सुख।
- संस्मरणों का एक संग्रह-आखिरी पन्ना
- यात्रा-वृत्तांत-मेनलैंड का आदमी प्रकाशित
- पुरस्कार: अट्टास सम्मान: श्रेष्ठ व्यंग्य लेखन के लिए यह सम्मान 28 मार्च 1998 को रवीन्द्रालय, लखनऊ में प्रसिद्ध लेखक श्रीलाल शुक्ल द्वारा दिया गया।
- वागीश्वरी पुरस्कार: श्रेष्ठ उपन्यास लेखन के लिए यह पुरस्कार 16 जुलाई 1999 को मुल्ला रमूजी भवन, भोपाल में मध्यप्रदेश हिन्दी साहित्य सम्मेलन द्वारा उपन्यास ’चुनाव’ के लिए प्रसिद्ध समालोचक डॉ. नामवरसिंह के हाथों दिया गया।
- जगन्नाथरॉय शर्मा स्मृति पुरस्कार: 24 दिसंबर 2003 को जमशेदपुर में प्रसिद्ध समालोचक खगेन्द्र ठाकुर एवं डॉ. शिवकुमार मिश्र द्वारा दिया गया।
- स्पेनिन हेसल एवार्ड: वर्ष 2007 की श्रेष्ठ कृति के रुप में उपन्यास ’भोंगपुर-30 कि.मी.’ को 6 सितम्बर 2008 को रांची के प्रसिद्ध शैक्षणिक संस्थान द्वारा ग्यारह हजार रुपयों का पुरस्कार दिया गया।
- सम्प्रति भिलाई इस्पात संयंत्र के सी.एस.आर. विभाग में सहायक प्रबंधक ।
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